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शरद पंवार ने कल दिए अब चुनाव न लड़ने के संकेत, बड़ा इमोशनल कार्ड माना जा रहा

RNE Network

महाराष्ट्र की राजनीति के चाणक्य कहे जाने वाले शरद पंवार ने कल इमोशनल कार्ड खेल मास्टर स्ट्रोक लगाया। उन्होंने अपने परंपरागत क्षेत्र बारामती में कल आगे चुनाव न लड़ने के संकेत दिए।
राजनीति में शरद का उत्तराधिकारी भतीजे अजीत पंवार को माना जाता था। मगर भतीजे अजीत ने एनसीपी तोड़ अलग गुट बनाया और भाजपा से जा मिले। तब से शरद तिलमिलाए हुए थे और उनको बड़ी राजनीतिक शिकस्त देने में लगे थे।

अजीत को पहली शिकस्त उन्होंने लोकसभा चुनाव में दी। जब बारामती लोकसभा सीट पर उन्होंने अजीत की पत्नी के सामने अब उनकी उत्तराधिकारी बेटी सुप्रिया सुले को उतार दिया। भतीजे की इस चुनाव में करारी हार हुई।

अब बारामती विधानसभा सीट से अजीत पंवार चुनाव लड़ रहे हैं तो उनके सामने शरद ने अपने पोते और अजीत के भतीजे को उतार उन्हें फंसा दिया। पोते का नामांकन दाखिल कराने खुद शरद पंवार गये, जबकि वे अपनी बेटी के नामांकन के समय भी कभी नहीं गये। अब अजीत को बारामती में वे घेरने में लग गए और वहीं कल उन्होंने ये मास्टर स्ट्रोक लगाया।

बारामती में कल उन्होंने कहा कि मैं अब कोई चुनाव नहीं लडूंगा। मुझे कहीं न कहीं रुकना होगा। मुझे सोचना होगा कि मैं राज्यसभा जाऊंगा या नहीं। मेरा अभी डेढ़ साल का राज्यसभा का कार्यकाल बचा है। इसे बड़ा इमोशनल कार्ड माना जा रहा है। क्योंकि बारामती उनका परंपरागत गढ़ है |